रविवार, 18 मई 2014

वे क्या दिन थे जब हर कोई गाली देता था मोदी को । कोई जाति  पूछता था । तो कोई कुत्ते के बच्चे के बडे  भाई कहता तो दूसरा दरिंदा कह देता । कोई जहरीला कहता तो कोई मौत का सौदागर बताता । कोई कहता मोदी जालिम है तो कोई जेल में डाल  देने की बात करता । कोई शिकायत करता कि  वह जानवर है और उसे हंटर से काबू में लाया जाना चाहिए । कोई कहता वह एकांत में लड़कियों के फ़ोन सुनते हैं । तो कोई कह डालता कि  मोदी आवारा थे इसलिए घर छोड़कर भाग गए । कोई उन्हें गुजरात का कसाई बताता तो दूसरा तत्काल आदमखोर कह देता । किसी की नजर में मोदी शैतान थे तो किसी के लिए उनके मन में स्त्री के प्रति सम्मान न होने की बात छिपी होती । किसी को मोदी के हाथ खून में रंगे  दीखते तो कोई उन्हें खून के समंदर में नहाया देखता । किसी को दीखता कि  यदि मोदी से सेकुलरिज्म सीखना पड़ा तो देश छोड़ देंगे तो किसी को लगता कि  मोदी देश में खून की होली खेलना चाहते हैं । किसी को उनमे लुटेरा और एक घमंडी आदमी नजर आता तो किसी को वे जल्लाद नजर आते । कोई कहता कि  यदि मोदी देश के पी एम बने तो वे हिन्दुस्तान छोड़ देंगे तो कोई उन्हें कायर बताता । कोई मोदी के आने पर बाइस हज़ार मरने की बेवकूफी करता तो कोई उन्हें शान्ति के लिए खतरा समझता । कोई उनसे दोस्ती साबित होने पर राजनीति छोड़ देने की बात करता तो कोई कहता मोदी पी एम बने तो लड़कियों का क्या होगा । कोई कहता उन्हें वोट देना देश द्रोह है तो कोई कहता वे नीच राजनीति करते हैं । किसी ने उनके गुजरात मॉडल को कत्ले आम का मॉडल बताया तो किसी ने उन्हें बेवकूफ झूठा और गधा तक कह डाला । किसी ने कहा वे पी एम बने तो प्राकृतिक आपदा घोषित करेंगे  तो किसी ने भाजपा वालों को कब्रिस्तान भेजने की बात कही किसी ने उनकी तुलना आसाराम  की तो किसी को वे नपुंसक नजर आये । किसी ने इशारों में ही उन्हें लकड़बग्घा कहा तो किसी को उनमे न्युक्लीअर बम दिखा । किसी ने कहा कि  लोकतंत्र एक मंदिर है और कुछ कुत्ते इस मंदिर में घुसकर टांग उठा देते हैं तो किसी ने उनकी बोटी बोटी कर देने की बात कही। किसी ने उनमे पी एम बनने   योग्यता ही नहीं देखी  तो किसी ने उनके लिए कब्र खोदी हुई होने की बात कही और लोगों को कहा कि  वे मिटटी डालने आएं । कोई उन्हें दंगाई और हत्यारा कहता तो कोई गुंडा बताता । कोई उन्हें समुन्दर में फेंक देने की बात कहता तो कोई बी जे पी के बहाने इन्हे ड्रेकुला कहता । किसी ने उनके अचार  बनने  की बात कही तो किसी ने उन्हें दिमागी अस्पताल में इलाज करवाने की बात कही । किसी ने उन्हें हैवान कहा तो किसी ने उनके पी एम बनने  पर देश में आग लग जाने की बात कही । किसी ने कहा कि  मोदी विरोधियों को मरवा देते हैं तो किसी ने उन्हें जहर की खेती करने वाला कहा । किसी ने बड़बोला कहा तो किसी ने कहा कि  एक चायवाला कभी पी एम नहीं बन सकता । किसी ने नया नया मुल्ला कहा तो किसी ने दानव कहा । किसी ने भस्मासुर कहा  तो किसी ने यमराज कहा । किसी ने तेंदुआ कहा । 

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